चम्पावत जिले के टनकपुर समेत प्रदेश के 58 थानों को मिला कोतवाली का दर्जा

देहरादून/चम्पावत। राज्य के उप निरीक्षक स्तर के 58 थाने अब कोतवाली बन गए हैं। इस संबंध में गृह विभाग ने शासनादेश जारी कर दिया है। इस आदेश के बाद अब राज्य में इंस्पेक्टर स्तर के थानों की संख्या 112 हो जाएगी। भारतीय न्याय संहिता में दी गई व्यवस्था के अनुसार अहम घटनाओं की जांच निरीक्षक स्तर से होनी है। शासनादेश के अनुसार चम्पावत जिले में टनकपुर थाने को भी कोतवाली का दर्जा मिल गया है। जिले का मैदानी व प्रमुख नगर होने के चलते टनकपुर में काफी समय से निरीक्षक स्तर के ही अधिकारी की तैनाती होती आई है। आम बोलचाल में भी टनकपुर को थाना नहीं कोतवाली ही कहा जाता था। अब टनकपुर को विधिवत कोतवाली का दर्जा मिल गया है। अब यहां नियमित रूप से प्रभारी के तौर पर निरीक्षक की तैनाती होगी।

मैदान और पहाड़ को जोड़ने वाला टनकपुर सबसे अधिक आबादी और सबसे ज्यादा चुनौती वाला क्षेत्र भी है। साथ ही यह जिले का सबसे पुराना थाना भी है। पुलिस अधीक्षक अजय गणपति ने बताया कि टनकपुर कोतवाली चम्पावत जिले की तीसरी कोतवाली होगी। इससे पूर्व चम्पावत और नेपाल सीमा से लगी पंचेश्वर ही कोतवाली थी। तीन कोतवाली के अलावा जिले में 5 (बनबसा, लोहाघाट, रीठा साहिब, तामली और पाटी) थाने हैं।
देहरादून: नेहरू कालोनी, रायपुर, राजपुर, रायवाला, सहसपुर, कालसी, प्रेमनगर, चकराता।
हरिद्वार : श्यामपुर, कनखल, पथरी, बहादराबाद, भगवानपुर, झबरेड़ा, खानपुर, कलियर, सिडकुल।
उत्तरकाशी: उत्तरकाशी कोतवाली, धरासू, बड़कोट, हर्षिल।
टिहरीः चंबा, नरेंद्रनगर, देवप्रयाग, घनसाली, कैंपटी।
चमोलीः गोपेश्वर, गोविंदघाट, गैरसैंण।
रुद्रप्रयागः ऊखीमठ, गुप्तकाशी, अगस्त्यमुनि।
पौड़ी: श्रीनगर, लक्ष्मण झूला।
नैनीताल : काठगोदाम, कालाढूंगी, तल्लीताल, भीमताल, मुक्तेश्वर, मुखानी, वनभूलपुरा।
ऊधमसिंह नगरः कुंडा, गदरपुर, पंतनगर, नानकमत्ता, ट्रांजिट कैंप, आईटीआई।
अल्मोड़ाः द्वाराहाट, सोमेश्वर, चौखुटिया, महिला थाना।
बागेश्वरः बैजनाथ, कौसानी।
पिथौरागढ़ः बेरीनाग, झूलाघाट, मुनस्यारी, गंगोलीहाट।
चम्पावतः टनकपुर ।
