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चम्पावत : कुर्सी की डोली बनाई और वृद्धा को अस्पताल ले जाने के लिए 11 किमी पैदल चल कर सड़क तक पहुंचाया

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चम्पावत। देश को आजाद हुए आठ दशक होने को हैं, लेकिन आज भी सीमांत तल्लादेश के तमाम गांव ऐसे हैं, जहां के लोग सड़क की बाट जोह रहे हैं। सड़क न होने से ग्रामीणों को आए दिन दिक्कतों का सामना करना पड़ता है। ऐसे ही गांवों में सीमांत तल्लादेश का सौराई गांव भी शामिल है। गांव के युवाओं को दीपावली की खुशियों के बीच भारी दिक्कतें झेलनी पड़ीं। क्योंकि गांव की एक वृद्धा ​बीमार हो गई थी। उसे अस्पताल पहुंचाना था। जिसके लिए युवाओं ने कुर्सी की डोली बनाई और कई किमी पैदल चल कर बीमार वृद्धा को सड़क तक पहुंचाया।

जानकारी के अनुसार 21 अक्तूबर की रात सौराई गांव की द्रौपदी देवी (87) पत्नी भवान सिंह की तबीयत अचानक बिगड़ गई। उन्हें पेट से संबंधी दिक्कत थी। गांव तक सड़क नहीं होने के कारण रात में उन्हें अस्पताल पहुंचाना संभव नहीं था। परिजनों ने रात गुजरने का इंतजार किया। बुधवार सुबह तक जब वृद्धा को आराम नहीं मिला तो उन्हें अस्पताल ले जाने की कवायद की गई। त्योहार पर छुट्टी पर घर आए युवाओं ने कुर्सी पर दो डंडे बांधकर डोली बनाई और सुबह करीब सात बजे वृद्धा को लेकर निकले।

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करीब 11 किलोमीटर लंबे ऊबड़-खाबड़ रास्ते को तीन घंटे में पार कर वृद्धा को मंच की मुख्य सड़क तक लाया गया। यहां से आपातकालीन सेवा 108 के माध्यम से उन्हें 32 किलोमीटर दूर नगर के अस्पताल पहुंचाकर भर्ती कराया गया। जहां उनका इलाज चल रहा है। अब वृद्धा की हालत में सुधार बताया जा रहा है।

डोली में महिला को लाने वाले युवाओं में मोहित बोहरा, विमल बोहरा, सोनू बोहरा, कपिल बोहरा, मनोज बोहरा, रमेश बोहरा, राहुल बोहरा, मेघनाथ सिंह और बची सिंह शामिल रहे। युवाओं ने बताया कि सड़क न होने से ग्रामीणों को दिक्कतों का सामना करना पड़त है। उन्होंने कहा कि गांव में हर बार सड़क का सर्वे होता है लेकिन उसके आगे काम नहीं बढ़ पाता है। अगर दीपावली पर हम युवा घर नहीं आए होते तो वृद्धा को सड़क तक पहुंचाना बहुत मुश्किल होता। ग्रामीणों का कहना है कि गांव में सड़क न होने से हमेशा ही दिक्कतें झेलनी पड़ती हैं। रात में किसी की तबीयत बिगड़ जाए तो उसे मंच सड़क तक लाना बहुत मुश्किल हो जाता है। इस बार दीपावली पर युवा गांव आए थे अन्यथा वृद्धा को अस्पताल पहुंचाना बड़ी चुनौती होता। सरकार से हमारी यह मांग है कि गांव तक सड़क जल्द बनाई जाए। इसका अहसास होना चाहिए कि बिना सड़क के एक मरीज को मुख्य सड़क तक लाने में कितनी मुश्किलें होती हैं। हर बार सर्वे होता है लेकिन सड़क नहीं बनती है।

डीएम मनीष कुमार ने बताया है कि मंच से सौराई तक 15 किमी सड़क के लिए सर्वे का काम पूरा कर लिया गया है। पीएमजीएसवाई के फेज फोर में सड़क का निर्माण प्रस्तावित है। डीपीआर गठन का काम किया जा रहा है। सभी कार्यवाही पूरी करने के बाद सड़क का निर्माण कराया जाएगा। वहीं लोक निर्माण विभाग चम्पावत डिवीजन के ईई मोहन चंद्र पडलिया का कहना है कि सोराई गांव को जोड़ने के लिए विभाग ने सर्वे की थी, लेकिन अब इस सड़क को पीएमजीएसवाई के जरिये आगे बढ़ाया जा रहा है।