क्राइम

उत्तराखंड # यहां किशोरी को तीन साल तक कमरे में रखा गया बंद, घर पहुंच सुनाई रूह कंपा देने वाली दास्तां

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तीन साल पहले लापता हुई किशोरी अचानक घर पहुंच गई। घर पहुंचकर उसने जो आपबीती सुनाई, वह रूह कंपा देने वाली थी। परिजनों ने पुलिस से मिल कर जांच की मांग की है। किशोरी का कहना है कि उसे तीन साल तक कमरे में कैद करके रखा गया। अब इस मामले को दोबारा से खोलने के लिए पुलिस ने न्यायालय में अर्जी दी है। मामला उत्तराखंड के हरिद्वार जिले का है। पुलिस का कहना है कि दोषी कोई भी हो, उसे बख्शा नहीं जाएगा।
कोतवाली रुड़की क्षेत्र के एक मोहल्ला निवासी किशोरी अगस्त 2018 में संदिग्ध परिस्थितियों में लापता हो गई थी। पुलिस ने किशोरी के लापता होने के मामले में अपहरण का मुकदमा दर्ज किया था। मामले में एक युवक का नाम सामने आया था। किशोरी की अंतिम लोकेशन और सीसीटीवी फुटेज हरिद्वार में मिली थी, लेकिन इसके बाद किशोरी कहां गायब हुई, इसका पता नहीं चल पाया। बाद में पुलिस ने मुकदमे में फाइनल रिपोर्ट लगा दी। परिवार के लोग भी निराश होकर घर बैठ गए। बताया जा रहा है कि 31 जुलाई को अचानक किशोरी के भाई के मोबाइल पर एक काल आई। काल करने वाली उसकी बहन ही थी। इसके बाद वह अपने घर पहुंच गई। वह इतनी डरी लग रही है कि कुछ भी सही तरीके से बता नहीं पा रही है। उसने बताया कि एक युवक के झांसे में आकर वह घर से चली गई थी, लेकिन बताए गए स्थान पर युवक नहीं मिला।
उसने युवक से संपर्क करने के लिए उसने कई फोन किए, लेकिन वह नहीं आया। वह भटकती रही। इसी दौरान किसी ने उसे कुछ सूंघाया। जब उसे होश आया तो उसने खुद को एक बंद कमरे में पाया। आरोप है कि उसे कैद करके रखने वाले युवकों ने बताया कि उन्होंने उसे खरीदा है। इसके बाद उसे कई स्थानों पर ले जाया गया। उसे उत्तर प्रदेश के एक शहर में एक बंद कमरे में रखा गया। वहां उसी की तरह एक लड़की को भी लाया गया था। बाद में उसे ले गए। कोतवाली रुड़की के मुताबिक, किशोरी ने अभी तक जो कुछ बताया है, उससे लग रहा है कि उसके साथ कोई बड़ी अनहोनी हुई है। अभी वह बेहद घबराई है। ठीक से पूरी बात नहीं बता पा रही है। मामले की जांच फिर से खोलने के लिए न्यायालय में प्रार्थना पत्र दिया जा रहा है। किशोरी के न्यायालय में बयान दर्ज कराए जाएंगे। पुलिस मामले की पूरी तह तक जाएगी। किसी भी आरोपी को बख्शा नहीं जाएगा।

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