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अंकिता भंडारी हत्याकांड : धामी सरकार के खिलाफ कांग्रेस का हल्ला बोल, महिला मोर्चा प्रदेश अध्यक्ष व महासचिव ने सिर मुंडवाया

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देहरादून। चर्चित अंकिता भंडारी हत्याकांड में हाईकोर्ट के सिटिंग जज की निगरानी में सीबीआई जांच कराने की मांग पर राजधानी देहरादून में आज कॉंग्रेस ने मुख्यमंत्री आवास कूच किया। सैकड़ों की संख्या में कांग्रेस कार्यकर्ता प्रदेश मुख्यालय पर एकत्र हुए कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष करन माहरा, कांग्रेस के वरिष्ठ नेता हरीश रावत और कांग्रेस महिला मोर्चा अध्यक्ष ज्योति रौतेला के नेतृत्व में सीएम आवास के लिए कूच किया। ज्योति रौतेला ने एक अन्य महिला कार्यकर्ता के साथ अपना सिर मुंडवाकर विरोध जताया। गुरुवार को कांग्रेस महिला मोर्चा के प्रस्ताविक सीएम आवास कूच पर 300 से अधिक महिला कांग्रेस कार्यकर्ताओं समेत करीब 500 कार्यकर्ता कांग्रेस प्रदेश मुख्यालय पर एकत्र हुए और एक सभा का आयोजन किया। इसके बाद कांग्रेस के तमाम वरिष्ठ नेता और कार्यकर्ता पैदल मार्च निकालते हुए हाथ में तख्ती और नारेबाजी करते हुए मुख्यमंत्री आवास घेराव के लिए निकले, लेकिन भारी पुलिस बल ने कांग्रेस कार्यकर्ताओं को सीएम आवास से पहले हाथीबड़कला के निकट बैरिकेडिंग लगाकर रोक लिया। इस दौरान पुलिस और कार्यकर्ताओं के बीच धक्का-मुक्की हुई, जिसमें महिला कांग्रेस की प्रदेश सचिव शांति रावत और कार्यकर्ता अनीता को हल्की-फुल्की चोटें आईं। इसके बाद कांग्रेस कार्यकर्ता सड़क पर बैठ गए और नारेबाजी करने लगे। महिला कांग्रेस की प्रदेश अध्यक्ष ज्योति रौतेला और प्रदेश महासचिव शिवानी मिश्रा थपलियाल ने भाजपा सरकार के खिलाफ विरोध जताते हुए मौके पर ही अपना सिर मुंडवाया और अंकिता को श्रद्धांजलि दी।

इस दौरान ज्योति ने कहा कि सरकार अंकिता भंडारी के हत्यारों को बचाना चाहती है। महिला कांग्रेस की ओर से किए गए सीएम आवास घेराव में कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष करन माहरा, पूर्व सीएम हरीश रावत, कांग्रेस के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष गणेश गोदियाल, नेता प्रतिपक्ष यशपाल आर्य, उप नेता प्रतिपक्ष भुवन कापड़ी सहित कई नेता शामिल हुए। पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष माहरा का कहना है कि कांग्रेस, अंकिता भंडारी के परिजनों को न्याय दिलाने की लड़ाई लड़ रही है। दुख है कि अंकिता को अब तक न्याय नहीं मिल पाया है। उन्होंने कहा कि प्रदेश में महिलाओं के खिलाफ लगातार अपराध बढ़ते जा रहे हैं, लेकिन सरकार कानून व्यवस्था को लागू करने में पूरी तरह से विफल साबित हो रही है। उन्होंने कहा कि जिस तरह से हाकम सिंह (भर्ती परीक्षाओं में धांधली का आरोपी) सबूतों के अभाव में जेल से बाहर आ गया है। इस तरह अंकिता के हत्यारे भी बाहर आ जाएंगे। शायद उस वीआईपी का नाम जानने के लिए हम सब लोगों को जीवन भर इंतजार करना पड़ेगा। उन्होंने कहा कि पूरी सरकार वीआईपी को बचाने में लगी हुई है।

प्रदर्शन में शामिल पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने कहा कि रोजगार इस वक्त सबसे बड़ा मुद्दा है। इससे बाद महिला सम्मान का मुद्दा है। उन्होंने कहा कि इस प्रदेश में ना तो उत्तराखंड का ओर ना ही महिलाओं का सम्मान हो रहा है। प्रदेश का बेरोजगार नोजवान रोजगार की तलाश में दर-दर भटक रहा है, लेकिन उसको रोजगार नहीं मिल पा रहा है। उन्होंने कहा कि कांग्रेस पार्टी का यह संघर्ष राज्य की कुव्यवस्था, बढ़ती डेंगू महामारी और अतिक्रमण के नाम पर लोगों को उजाड़ने के विरोध में है। प्रदर्शन के दौरान पुलिस ने सैकड़ों कार्यकर्ताओं को हिरासत में लिया और पुलिस लाइन भेज दिया। जानें क्या था अंकिता भंडारी हत्याकांड पौड़ी के श्रीकोट (डोम) की 19 वर्षीय अंकिता भंडारी यमकेश्वर के गंगा भोगपुर स्थित वतंत्रा रिजॉर्ट में बतौर रिसेप्शनिस्ट की नौकरी करती थी। 18 सितंबर को अंकिता अचानक गायब हो गई। अंकिता के पिता ने 19 सितंबर को पौड़ी राजस्व पुलिस को अंकिता के गुमशुदगी की शिकायत दर्ज कराई और डीएम से मुलाकात कर अंकिता को खोजने की गुहार लगाई। डीएम ने मामले को राजस्व पुलिस से रेगुलर पुलिस को ट्रांसफर किया और मामले पर जांच के आदेश दिए। पुलिस ने जांच में रिजॉर्ट के कर्मचारियों और मालिक पुलकित आर्य से पूछताछ की। इसके बाद पुलिस ने संदेह पर पुलकित आर्य, अंकित गुप्ता और सौरभ भास्कर को हिरासत में लिया। पूछताछ में पुलकित ने बताया कि तीनों ने मिलकर अंकिता को चीला बैराज नहर में फेंक दिया है। इसके बाद अंकिता का शव 24 सितंबर को नहर से बरामद हुआ था। पुलिस की जांच में सामने आया है कि पुलकित, अंकिता पर जबरन अनैतिक काम करने का दबाव बना रहा था, जिसका अंकिता विरोध कर रही थी।