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अंकिता हत्याकांड की नहीं होगी सीबीआई से जांच, हाईकोर्ट ने जांच की मांग वाली याचिका की खारिज

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उत्तराखंड में पौड़ी जिले के चीला क्षेत्र में हुए वनंतरा रिसॉर्ट में रिसेप्शनिस्ट अंकिता भंडारी हत्याकांड के मामले की जांच सीबीआई से कराने संबंधित याचिका को नैनीताल हाईकोर्ट ने खारिज कर दिया। वरिष्ठ न्यायाधीश न्यायमूर्ति संजय कुमार मिश्रा की एकलपीठ ने मामले में सुनवाई पूरी कर निर्णय सुरक्षित रख लिया था। इस पर बुधवार को निर्णय सुनाया।
कोर्ट ने कहा है कि एसआइटी सही जांच कर रही है। कोर्ट ने मृतका के माता पिता को याचिका में पक्षकार बनाते हुए उनसे अपना विस्तृत जवाब पेश करने को कहा था। कोर्ट ने उनसे पूछा था कि आपको एसआइटी की जांच पर क्यों संदेह हो रहा है। मृतका की माता सोनी देवी व पिता बीरेंद्र सिंह भंडारी ने अपनी बेटी को न्याय दिलाने व दोषियों को फांसी की सजा दिए जाने को लेकर याचिका में प्रार्थना पत्र दिया था। इसमें आरोप लगाया था कि एसआइटी इस मामले की जांच में लापरवाही कर रही है। इसलिए सीबीआई से जांच कराई जाए।
बता दें कि पौड़ी जिले के यमकेश्वर प्रखंड के अंतर्गत गंगा भोगपुर स्थित रिसोर्ट से 18 सितंबर की रात से संदिग्ध परिस्थितियों में रिसेप्शनिस्ट अंकिता भंडारी लापता हो गई थी। पुलिस ने जब जांच की तो पता चला कि हत्या कर उसका शव चीला नहर में फेंक दिया गया था। इस मामले में रिसोर्ट मालिक पुलकित आर्य, प्रबंधक सौरभ भास्कर और सहायक प्रबंधक अंकित गुप्ता को गिरफ्तार किया है। मुख्य आरोपी पुलकित आर्य पूर्व बीजेपी नेता और पूर्व मंत्री विनोद आर्य का बेटा पुलकित आर्य है। पुलकित आर्य रिजॉर्ट का मालिक है। विनोद आर्य और उनके दूसरे बेटे अंकित आर्य को बीजेपी ने निष्कासित कर दिया था।

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