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विवाद बढ़ने के बाद भोजनमाता की नियुक्ति हुई रद्द, नए सिरे से होगी नियुक्ति प्रक्रिया

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टनकपुर। राजकीय इंटर कॉलेज सूखीढांग में भोजन माता की नियुक्ति को लेकर उपजे विवाद का मंगलवार को एसएमसी और पीटीए की खुली बैठक में पटाक्षेप हो गया है। मामले की जांच में आए एडी बेसिक अजय नौटियाल, मुख्य शिक्षा अधिकारी आरसी पुरोहित और बीईओ अंशुल बिष्ट ने जांच कर भोजनमाता की नियुक्ति को अवैधानिक करार देते हुए रद्द कर दिया है। अब जल्द विज्ञप्ति जारी कर नए सिरे से भोजनमाता की नियुक्ति होगी।
भोजनमाता की नियुक्ति प्रक्रिया में पहले सामान्य जाति की महिला और फिर अनुसूचित जाति की महिला को भोजन माता नियुक्त किए जाने से खासा विवाद पैदा हो गया था। स्कूल मैनेजमेंट कमेटी (एसएमसी) और पीटीए की ओर से पहले परित्यक्ता महिला पुष्पा भट्ट को भोजनमाता नियुक्त किया गया था। इससे पहले कि पुष्पा कार्यभार संभालतीं, विद्यालय प्रशासन ने कथित तौर पर गुपचुप तरीके से अनुसूचित जाति की महिला सुनीता देवी को भोजनमाता नियुक्त कर उसे कार्यभार भी सौंप दिया। इसका पता चला तो पीटीए अध्यक्ष नरेंद्र जोशी व अभिभावक नियुक्ति के विरोध में खड़े हो गए। वहीं एससी महिला को भोजनमाता बनाए जाने से सवर्ण जाति के बच्चों ने स्कूल में उसके हाथ का बनाया भोजन खाना बंद कर दिया। मामला उजागर हुआ तो प्रशासन और शिक्षा विभाग हरकत में आया।
मुख्य शिक्षा अधिकारी ने आनन फानन खंड शिक्षा अधिकारी को मामले की जांच कर रिपोर्ट देने के लिए कहा। बुधवार को एसएमसी और पीटीए की खुली बैठक होनी थी, लेकिन नैनीताल से एडी बेसिक अजय नौटियाल के मामले की जांच के लिए पहुंचने पर मंगलवार को ही एसएमसी और पीटीए की खुली बैठक आयोजित कर दी गई। मुख्य शिक्षा अधिकारी ने बताया कि दोनों पक्षों को सुनने और अभिलेखों की जांच में भोजनमाता की नियुक्ति अवैधानिक पाई गई है। इस पर नियुक्ति को रद्द कर दिया गया है। उन्होंने बताया कि अब जल्द नए सिरे से विज्ञप्ति जारी कर भोजन माता की नियुक्ति होगी। खुली बैठक में एसएमसी अध्यक्ष स्वरूप राम, पीटीए अध्यक्ष नरेंद्र जोशी, ग्राम प्रधान जौल दीपक राम, ग्राम प्रधान श्यामलाताल जगदीश राम, बीडीसी सदस्य दीपा जोशी समेत काफी संख्या में अभिभावक मौजूद रहे।

नवीन सिंह देउपा

नवीन सिंह देउपा सम्पादक चम्पावत खबर प्रधान कार्यालय :- देउपा स्टेट, चम्पावत, उत्तराखंड