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चम्पावत : टीजे रोड पर कार्य करा रहे व्यक्ति की पहाड़ी से गिरे पत्थर की चपेट में आने से हुई मौत, जानें घायल को जिला अस्पताल पहुंचने में क्यों लगे आठ घंटे…

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चम्पावत। निर्माणाधीन टनकपुर-जौलजीबी रोड पर ठेकेदार का कार्य करा रहे किटकन ठेकेदार/आपरेटर एक व्यक्ति की पहाड़ी से गिरे पत्थर की चपेट में आने से मौत हो गई। हादसे ने जनपद के दूरस्थ क्षेत्र से किसी भी घायल व्यक्ति को किसी भी ठीकठाक अस्पताल में पहुंचाने के लिए उपल​ब्ध सुविधाओं की पोल खोल दी है। मृतक के परिजनों में कोहराम मचा हुआ है। मृतक खेतीखान क्षेत्र के सिरतोली गांव का रहने वाला था।

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जानकारी के अनुसार टनकपुर-जौलजीबी रोड पर सीम इलाके में दीवार का कार्य करा रहे खेतीखान क्षेत्र के ग्राम सिरतोली निवासी सुभाष चंद्र गहतोड़ी पुत्र स्व.दयानंद गहतोड़ी उम्र करीब 45 वर्ष सोमवार को करीब साढ़े 11 बजे पहाड़ी से गिर रहे पत्थरों की चपेट में आकर गंभीर रूप से घायल हो गए। पहाड़ी से गिर रहे पत्थरों की चपेट में आने से तमाम मजदूर बाल बाल बचे। दो मजदूरों की जान इसलिए ​बच गई कि वह मिक्चर ​मशीन के नीचे छिप गए थे। पत्थरों की चोट से मशीन को नुकसान पहुंचा है। जब पत्थरों का गिरना बंद हुआ तब जाकर मजदूरों को पता चला कि ठेकेदार पहाड़ी से गिरे पत्थर की चपेट में आने से गंभीर रूप से घायल हो गया है। आनन फानन में उसे टनकपुर अस्पताल ले जाने के लिए सीम की ओर ले जाया गया।

घायल को लेकर अस्पताल पहुंचे मजदूरों ने बताया कि रविवार की रात हुई बारिश की वजह से निर्माणाधीन सड़क पर जगह जगह मलवा आया हुआ था। इस वजह से मशीन द्वारा सड़क खोल खोल कर किसी तरह घायल सुभाष गहतोड़ी को सीम पहुंचाया गया। जैसे ही घायल को एक पोकलैंड मशीन के जरिये लधिया नदी पार करा कर टकनपुर अस्पताल भेजने का प्रयास किया गया, मशीन की चैन टूट गई। ऐसे में घायल को टनकपुर ले जाना असंभव हो गया। उसके बाद वे घायल को पीठ पर लाद कर करीब सात-आठ किमी पैदल चल कर किसी तरह मंच तामली रोड पर पहुंचे। उसके बाद ठेकेदार की जीप से घायल को लेकर वे जिला अस्पताल पहुंचे। वे करीब साढ़े सात बजे जिला अस्पताल पहुंचे थे। जहां चिकित्सकों ने घायल सुभाष चंद्र गहतोड़ी को मृत घोषित कर दिया। अस्पताल से भेजे गए एमओ के आधार पर मौके पर पहुंची पुलिस ने शव कब्जे में लिया। मृतक के बड़े भाई ने बताया कि उन्हें हादसे की सूचना शाम करीब छह बजे मिली। वे आनन फानन में किसी तरह जिला अस्पताल पहुंचे। अस्पताल में ठेकेदार कंपनी की ओर से कोई मौजूद नहीं था। मृतक की पत्नी व बच्चों का रो रो कर बुरा हाल था।

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