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चम्पावत : मोटर दुर्घटनाओं को रोकने व दुर्घटनाओं के बाद त्वरित रिस्पॉन्स को लेकर डीएम ने जारी की एसओपी, जानें डीएम ने जारी किए हैं क्या दिशा निर्देश

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चम्पावत। जनपद में बढ़ रही मोटर दुर्घटनाओं को रोकने एवं मोटर दुर्घटनाओं के उपरांत त्वरित रिस्पॉन्स हेतु विभिन्न विभागों पुलिस, राजस्व, आपदा प्रबंधन, स्वास्थ्य, परिवहन, सड़क निर्माण विभाग आपदा प्रबंधन आदि विभागों के मध्य उच्च स्तरीय सामंजस्य एवं रिस्पांस समय कम किए जाने के साथ ही घायलों को तत्काल चिकित्सकीय सुविधा प्राप्त कराने के दृष्टिगत जिला मजिस्ट्रेट/ अध्यक्ष जिला आपदा प्रबंधन प्राधिकरण नरेद्र सिंह भंडारी ने मोटर दुर्घटना हेतु मानक प्रचालन प्रक्रिया (SOP) जारी करते हुए संबंधित विभागों को आदेश जारी करते हुए सम्बन्धितों को दिशानिर्देशों का कड़ाई से अनुपालन सुनिश्चित करने के निर्देश दिए हैं।





जारी निर्देशों के अनुसार मोटर दुर्घटना की सूचना प्राप्त होते ही तत्काल जिला आपदा प्रबंधन अधिकारी द्वारा संबंधित उप जिलाधिकारी, मुख्य चिकित्साधिकारी के साथ ही मोटर मार्ग से संबंधित अधिशासी अभियंता तथा पुलिस कंट्रोल रूम को सूचित किया जाएगा। घटना के संबंध में जिला आपदा प्रबंधन अधिकारी द्वारा अपर जिलाधिकारी व जिलाधिकारी को भी सूचित किया जाएगा। साथ ही दुर्घटना स्थल के नजदीकी ग्राम प्रधान से संपर्क किए जाने हेतु जिला पंचायत राज अधिकारी को भी सूचित किया जाएगा तथा उनसे घटनास्थल की सूचना प्राप्त की जाएगी। तदोपरांत उस क्षेत्र के राजस्व उपनिरीक्षक, ग्राम विकास अधिकारी, ग्राम पंचायत विकास अधिकारी को भी सूचित किया जाएगा।
राहत एवं बचाव कार्य में लगी टीम तथा स्थानीय लोगों के बारे में स्पष्ट जानकारी संबंधित राजस्व उपनिरीक्षक के माध्यम से प्राप्त करते हुए जिला आपदा प्रबंधन अधिकारी को अवगत कराया जाएगा व मोटर दुर्घटना के दौरान प्रभावितों के संबंध में संपूर्ण जानकारी प्राप्त तैयार कर राज्य आपातकालीन केद्र देहरादून को प्रेषित की जाएगी। उप जिलाधिकारी स्तर से की जाने वाली कार्यवाही यथा मोटर दुर्घटना की सूचना प्राप्त होते ही सर्वप्रथम तहसीलदार/ नायब तहसीलदार को तत्काल दुर्घटना स्थल पर रवाना किया जाएगा। हायर सेंटर रेफर किए जा रहे मरीजों का संपूर्ण विवरण तैयार कर जिला आपातकालीन परिचालन केद्र चम्पावत को उपलब्ध कराया जाएगा। दुर्घटना स्थल पर खोज एवं बचाव कार्य में लगी टीमों के भोजन, पानी आदि की व्यवस्था की जाएगी। साथ ही जनपद की सीमा पर स्थित हो तो उस जनपद से संबंधित उप जिलाधिकारी से अनिवार्य रूप से संपर्क स्थापित किया जाएगा। जिससे कि उस जनपद से भी आवश्यक सहयोग प्राप्त हो सके।





यदि घायलों को हायर सेंटर एसटीएच हल्द्वानी रेफर किया जाता है तो उस दशा में सिटी मजिस्ट्रेट हल्द्वानी/ उप जिलाधिकारी हल्द्वानी से भी संपर्क करते हुए उन्हें सूचित किया जाए, जिससे कि घायलों का एसटीएच हल्द्वानी में उचित इलाज हो सके। मुख्य चिकित्सा अधिकारी द्वारा की जाने वाली कार्यवाही यथा मोटर दुर्घटना के दृष्टिगत चिकित्सा विभाग द्वारा चिकित्सकों की टीम ऑक्सीजन सिलेंडर, जीवन रक्षक दवाइयों के साथ 24 गुणा 7 की तर्ज पर QRT मय विभागीय एंबुलेंस तैयार रखी जाए। जिसको दुर्घटना की सूचना प्राप्त होते ही न्यूनतम समय पर दुर्घटना स्थल की ओर रवाना किया जा सके। बड़ी मोटर दुर्घटना की स्थिति में मृतकों के पोस्टमार्टम की कार्रवाई हेतु डॉक्टरों की टीम का गठन करते हुए पोस्टमार्टम स्थल की ओर रवाना किया जाए। गंभीर घायल व्यक्तियों हेतु यदि हेलीकॉप्टर की आवश्यकता हो तो उसकी सूचना तत्काल आपातकालीन परिचालन केंद्र को उपलब्ध कराई जाए।





पुलिस विभाग द्वारा की जाने वाली कार्यवाही जैसे मोटर दुर्घटना की सूचना प्राप्त होने पर टीम संबंधित थाने/ पुलिस लाइन/ अग्निशमन/ एसडीआरएफ मौके पर रवाना होती है उस टीम का विवरण मय उपकरण आदि जिला आपातकालीन परिचालन केंद्र को भी उपलब्ध कराया जाए। बड़ी दुर्घटना होने की दशा में पुलिस विभाग की विभागीय एंबुलेंस को भी घटनास्थल पर रवाना किया जाए। मोटर दुर्घटना स्थल पर ट्रैफिक के सुगम आवागमन हेतु तत्काल अतिरिक्त पुलिस बल की व्यवस्था कर कार्रवाई की जाए। साथ ही मोटर दुर्घटना स्थल को तत्काल cordon off (घेरा) किया जाए, जिससे कि राहत एवं बचाव कार्य निर्बाध रूप से संचालित किया जा सके। इसके अतिरिक्त पुलिस लाइन/ थाना/ कोतवाली तथा अग्निशामक से जब भी पुलिस दल रवाना किया जाए उसके पास रोशनी की व्यवस्था हेतु इनफ्लैटेबल लाइट टावर अनिवार्य रूप से उपलब्ध रहे।
राष्ट्रीय राजमार्ग खण्ड लोहाघाट, लोक निर्माण विभाग चम्पावत/लोहाघाट, पीएमजीएसवाई चम्पावत/ लोहाघाट द्वारा आपातकालीन परिचालन केंद्र से घटना की सूचना प्राप्त होते ही स्वयं या सम्बन्धित सहायक अभियंता को अनिवार्य रूप से घटनास्थल की ओर रवाना किया जाएगा। घटनास्थल के नजदीक अस्थाई हेलीपैड हेतु सुरक्षित स्थल का चयन किया जाएगा तथा उस स्थान के कोऑर्डिनेशन जिला आपातकालीन परीचालान केंद्र को उपलब्ध कराए जाएंगे। घटनास्थल पर या घटनास्थल के नजदीक विभाग द्वारा सूचना पट लगाए गए थे अथवा नहीं तथा सड़क सुरक्षा से संबंधित सुरक्षात्मक उपायों का अपनी रिपोर्ट में स्पष्ट उल्लेख किया जाएगा। परिवहन विभाग द्वारा आपातकालीन केंद्र चम्पावत के माध्यम से मोटर दुर्घटना की सूचना प्राप्त होते ही दुर्घटना स्थल पर पहुंचकर प्रथम दृष्टया दुर्घटना के कारणों का पता लगाया जाएगा। वाहन की फिटनेस आदि की सूचना एकत्रित करते हुए सूचना से जिला आपातकालीन परिचालन केंद्र को अवगत कराया जाएगा। दुर्घटना से संबंधित उप जिलाधिकारी, पुलिस, राष्ट्रीय राजमार्ग खंड लोहाघाट, लोक निर्माण विभाग चम्पावत/लोहाघाट, पीएमजीएसवाई चंपावत/ लोहाघाट के प्रतिनिधियों के साथ प्रथम दृष्टया संयुक्त निरीक्षण कर रिपोर्ट तत्काल जिला आपातकालीन परिचालन केंद्र को उपलब्ध कराई जाएगी।
जिला मजिस्ट्रेट/ अध्यक्ष जिला आपदा प्रबंधन प्राधिकरण ने उक्त मानक प्रचालन प्रक्रिया (SOP) में जिन अधिकारियों को जो दायित्व दिए गए हैं वह अपने से संबंधित कार्यों का त्रुटि रहित कार्यवाही सुनिश्चित करने इस सख्त निर्देश दिए। साथ ही सभी नामित विभाग के एक-एक जिम्मेदार अधिकारी कर्मचारी को पूर्व से ही नामित करने तथा नामित अधिकारी की सूचना जिला आपातकालीन परिचालन केंद्र में उपलब्ध कराने के निर्देश दिए। उन्होंने पुनः सख्त निर्देश देते हुए कहा कि किसी भी स्तर पर लापरवाही परिलक्षित होती है तो उस स्तर पर विधिक कार्यवाही अमल में लाई जाएगी।

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