उत्तराखण्डराजनीति

हरीश रावत के पुत्र आनंद रावत मुख्यमंत्री धामी के मुरीद, कहा- ‘धाकड़ धामी की धमक ने धड़काई धुरंधरों की धमनियां’

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देहरादून। पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत चम्पावत उपचुनाव में कांग्रेस को बड़े अंतर से मिली पराजय को लोकतंत्र के लिए खतरा करार दे रहे हैं, वहीं उनके पुत्र व कांग्रेस में विभिन्न पदों पर आसीन रहे आनंद रावत मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के मुरीद नजर आ रहे हैं।




चम्पावत उपचुनाव में मुख्यमंत्री धामी की जीत के बाद इंटरनेट मीडिया पर आनंद रावत की पोस्ट चर्चा का विषय बन गई। ‘धाकड़ धामी की धमक ने धड़काई धुरंधरों की धमनियां’ शीर्षक से पोस्ट में उन्होंने धामी की तुलना भारतीय क्रिकेट टीम के कप्तान रहे महेंद्र सिंह धोनी से कर दी। उन्होंने कहाकि 2007 में जब धोनी को टी-20 वल्र्ड कप के लिए भारतीय टीम का कप्तान बनाया तो किसी को उम्मीद नहीं थी कि भारतीय टीम चमत्कार करेगी।





कुछ ऐसा ही माहौल चार जुलाई, 2021 को उत्तराखंड की राजनीति में भी था। भाजपा ने पुष्कर सिंह धामी को प्रयोग के तौर पर तीसरे मुख्यमंत्री के पद की शपथ दिलाई। समय कम था और धामी को निरंतर बल्लेबाजी करनी थी। ऐसे में वह पूर्ववर्ती मुख्यमंत्रियों के निर्णयों को उलटते-पलटते और नाराज मंत्रियों को मनाते दिखाई दिए। आनंद ने कहा कि धामी का पहले छह महीने का कार्यकाल उल्लेखनीय नहीं रहा, लेकिन चुनाव में टिकट वितरण के कौशल ने प्रभावित किया। उनका होमवर्क और सर्वे सटीक था। उस पर जोखिम उठाने का माद्दा, इससे रक्षात्मक भाजपा को चुनावी संघर्ष में खड़ा कर दिया।
कुमाऊं मंडल में कांग्रेस प्रत्याशियों के मुकाबले भाजपा प्रत्याशियों के चयन की उन्होंने सराहा। उन्होंने कहा कि अब धामी को उत्तराखंड के लिए राजनीतिक कौशल दिखाने की आवश्यकता है। राज्य की दो ज्वलंत समस्याओं मानव-वन्यजीव संघर्ष और वनाग्नि के समाधान को अल्पकालिक और दीर्घकालिक योजना बनानी पड़ेगी। भू-कानून और नौकरियों में धांधली पर भी उन्होंने मुख्यमंत्री से रुख स्पष्ट करने की अपेक्षा की।