सरस मेले में लोगों को लुभा रही मंडला आर्ट, उत्तरकाशी की रिंगाल की टोकरी बनी आकर्षण का केंद्र
टनकपुर। यहां चल रहे सरस मेले में मंडला आर्ट से बने चित्रों को खूब पसंद किया जा रहा है। ये चित्र बनबसा की रहने वाली 20 साल की अंजलि टम्टा ने बनाए हैं। उन्होंने मंडला ;चक्रनुमाद्ध आर्ट के तहत पहाड़ी हैं हम, संविधान निर्माता डॉ. बीआर आंबेडकर, पूर्व राष्ट्रपति एपीजे अब्दुल कलाम, मशहूर हास्य कलाकार चार्ली चैपलिन समेत तमाम चित्र अपनी स्टॉल में लगाए हैं। लोग उन्हें हाथों हाथ खरीद रहे हैं। साथ ही अंजलि को कई प्रोजेक्ट भी मिल रहे हैं। मंडला आर्ट में रचनाकार गोलाकार रूप में जटिल डिजाइन में कई परतें होती है और इसे विभिन्न रंगों से रंगा जाता है।
रामनगर ब्लॉक की चेतना एसएचजी (स्वयं सहायता समूहद्) से जुड़ी अंजलि की खूबसूरत मंडला आर्ट को यहां खूब पसंद किया जा रहा है। उन्हें यहां पांच आर्डर भी मिले हैं। देहरादून के ग्राफिक एरा से बीएससी एमिनेशन पास अंजलि टम्टा अपने शौक को अब कॅरियर बना रही हैं। 21 चित्र अब तक बना चुकी है। यहां मिल रही प्रशंसा और सराहना से गदगद अंजलि बताती हैं कि एक चित्र तैयार करने में पांच से छह घंटे लगते हैं लेकिन समय से अधिक एकाग्रता इस आर्ट के लिए जरूरी है।
उत्तरकाशी की रिंगाल की टोकरी बनीं आकर्षण का केंद्र
टनकपुर। उत्तरकाशी जिले की डुंडा ब्लॉक के सरोज स्वयं सहायता समूह की सरोज रमोला और रेणुका समूह की सोनिका का कहना है कि हम कभी चम्पावत जिला आएंगे ऐसा नहीं सोचा था लेकिन सरस मेले की बदौलत यहां तक पहुंच गए। दोनों समूहों की ये महिलाएं रिंगाल की टोकरी, ऊनी वस्त्र, एलईडी बल्ब, पहाड़ी दाल सहित अन्य उत्पादों को लेकर मेले में पहुंची हैं। मेले में इन सामग्रियों की बिक्री से वे संतुष्ट हैं। कहती हैं कि समूह से ताकत मिलने के साथ आत्मविश्वास और सामूहिक श्रम से गांवों में आर्थिक विकास संभावनाएं भी बढ़ी हैं।