उत्तराखण्ड

इंटरनेट पर छाया धारचूला का खेला गांव, आनंद महेंद्र के रीट्वीट के बाद प्राकृतिक स्वीमिंग पूल

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सीमांत जनपद पिथौरागढ़ की धारचूला तहसील का खेला गांव इन दिनों इंटरनेट पर छाया हुआ है। वजह है यहां पर स्थित प्राकृतिक स्वीमिंग पूल। पिछले दिनों इस पूल का फोटो प्रसिद्ध उद्योगपति आनंद महिंद्रा ने रीट्वीट किया था। जिसके बाद यह इंटरनेट पर छा गया। उस फोटो को ख़ास-ओ-आम सभी लोगों ने तो पसंद कर अपनी प्रतिक्रिया दी। इंडियन एक्सप्रेस जैसे प्रमुख मीडिया हाउसों ने भी इस सुंदर आश्चर्य को अपने अखबारों में स्थान दिया। सिद्धार्थ नाम के यूजर ने इसे ट्वीट किया था, जिस कारण लोग इसे हिमाचल का समझ रहे हैं। परंतु ये खूबसूरत नज़ारा है उत्तराखंड के पिथौरागढ़ जिले के गांव खेला का। जहां के नरेश धामी जी ने अपने गांव की ही एक जगह की तस्वीर ली जो इंटरनेट के माध्यम से अपलोड होते ही देश दुनिया में वायरल हो गई। आपको बता दें कि उत्तराखंड के पिथौरागढ़ जनपद के धारचूला तहसील में है खेला गांव।
एक मीडिया रिपोर्ट के अनुसार खेला निवासी रघुनंदन राकेश (पूर्व महासचिव LSMPG)बताते हैं कि उनके गांव में ऐसे अनेक प्राकृतिक सुरम्य दृश्य हैं, जो खासकर बरसात में किसी स्वर्ग से कम नहीं लगते। परंतु प्रकृति ने जिसे इतने खूबसूरत तोहफे से नवाज़ा वह स्थान जनप्रतिनिधियों व प्रशासन की उदासीनता के कारण परिवहन, संचार, स्वास्थ्य, मूलभूत विकास से वंचित है। हज़ार से ऊपर की आबादी वाले इस गांव के अधिकतर लोग सेना में हैं जिनके परिवार अक्सर ‘बाहर’ रहते हैं और जो लोग गांव में ही गुज़र-बसर कर रहे हैं उनका जीवन साधनों के अभाव में अत्यंत कठिन है। दुनिया ने बेशक कोविड काल में स्वास्थ्य तंत्र की चुनौतियां महसूस की हों परंतु यहां कोई व्यक्ति बीमार हो जाए तो डोली में अन्य ग्रामीणों के कंधो से अस्पताल पहुंचना ही इलाज की पहली शर्त है। पढ़ने के लिए बारहवीं तक इंटर कॉलेज तो है परंतु चूल्हे की आग जलाने और पेट की आग बुझाने के लिए सिलेंडर लाने 5-7 किमी की चढ़ाई चढ़ना ज़रूरी है। बात जब डिजिटल युग और ऑनलाइन शिक्षा की हो तो खेला की खूबसूरत तस्वीर के पीछे ये सच्चाई भी है कि इस सीमांत क्षेत्र में नेटवर्क की उपलब्धता लगभग शून्य है। लोग नेपाली सिम का प्रयोग करने को बाध्य हैं क्योंकि अपना bsnl साल में एकाध बार ही दर्शन देता है। ग्रामीणों को यह खबर सुन के खुशी और गर्व के साथ ही उम्मीद भी है कि शायद अब उनके दिन संवर जाएं। वो पूरी दुनिया का अपनी खुबसूरत दुनिया में स्वागत करना चाहेंगे यदि व्यवस्था उनका साथ दे। ज़ाहिर है सड़क व संचार पहुंचने से ही संसार खेला पहुंच पाएगा।