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दिल्ली यूनिवर्सिटी के प्रो. डीएस रावत बने कुमाऊं विवि के कुलपति, राजभवन ने जारी किया आदेश

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दिल्ली विश्वविद्यालय के सीनियर प्रोफेसर डॉ. दीवान सिंह रावत कुमाऊं विश्वविद्यालय के नए कुलपति होंगे। बुधवार को राजभवन ने इसके आदेश जारी कर दिए। प्रो. रावत आगामी तीन वर्ष तक इस जिम्मेदारी को संभालेंगे। उन्होंने कुमाऊं विवि से ही स्नातक, परास्नातक की पढ़ाई की है।

विवि के कुलाधिपति एवं राज्यपाल लेफ्टिनेंट जनरल गुरमीत सिंह (सेनि) ने प्रो. डीएस रावत को कुमाऊं विवि कुलपति पद पर नियुक्त किया है। प्रो. रावत रसायन विज्ञान विभाग, दिल्ली विश्वविद्यालय में कार्यरत हैं। उन्होंने वर्ष 1989 में कुमाऊं विवि से स्नातक, 1991 में परास्नातक किया। इसके बाद मेडिसिनल केमिस्ट्री में सेंट्रल ड्रग रिसर्च इंस्टीट्यूट लखनऊ और कुमाऊं विवि से पीएचडी की। उन्होंने इंडियाना यूनिवर्सिटी और परड्यू यूनिवर्सिटी यूएसए से पोस्ट डॉक्टरल फैलो की।

वह जापान एडवांस्ड इंस्टीट्यूट ऑफ साइंस एंड टेक्नोलॉजी में विजिटिंग प्रोफेसर हैं। नेचर साइंटिफिक रिपोर्ट्स पत्रिका और रॉयल सोसाइटी एडवांसेज लंदन के एसोसिएट एडिटर रह चुके हैं। प्रो. रावत को इंडियन सोसाइटी ऑफ केमिस्ट एंड बायोलॉजिस्ट ने गत वर्ष आईएससीबी एक्सीलेंस अवार्ड इन ड्रग रिसर्च से नवाजा था। इसके अलावा वह वैश्विक रिसर्च अवार्ड, यंग साइंटिस्ट अवार्ड, सीएसआरआई यंग रिसर्चर अवार्ड सहित 15 से ज्यादा सम्मान हासिल कर चुके हैं। उनके नाम सात पेटेंट भी हैं। 165 रिसर्च पेपर पब्लिश हो चुके हैं।

114 प्रोफेसरों ने किया था आवेदन
कुमाऊं विवि नैनीताल के कुलपति पद के लिए के चयन को शासन ने सर्च कमेटी गठित की थी, जिसके पास 114 आवेदन आए थे। इनमें से सर्च कमेटी ने पांच नामों की सिफारिश राजभवन को की थी। राजभवन में पांचों दावेदारों से राज्यपाल ने अलग-अगल पारस्परिक वार्तालाप किया। उनसे विवि से संबंधित उनके विजन, रणनीति और विचारों को जाना। वार्तालाप के बाद उन्होंने प्रो. रावत का चयन किया है। राजभवन के मुताबिक, पूरी प्रक्रिया की पारदर्शिता और शुचिता सुनिश्चित करने के लिए वार्तालाप की वीडियो रिकॉर्डिंग की गई। इससे पहले हुए वार्तालाप की भी रिकॉर्डिंग की जाती रही है।