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रामनगर में जोरदार धमाका! विस्फोट में एक मासूम का उड़ा हाथ, 2 अन्य घायल, दहशत में आए लोग

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उत्तराखंड के नैनीताल जिले के रामनगर में से एक विस्फोटक हादसा सामने आया है। यहां चार मासूम बच्चों ने पटाखों के मसालों को इकट्ठा कर बोतल में भरने की कोशिश की। जो उनके लिए जानलेवा साबित हुई। अचानक हुए विस्फोट में एक बच्चे का हाथ बुरी तरह क्षतिग्रस्त हो गया। जबकि दो अन्य बच्चे भी घायल हुए हैं। हादसे के बाद पूरे इलाके में दहशत का माहौल है।

जानकारी के अनुसार यह घटना रामनगर क्षेत्र के कानियां गांव की है। रविवार शाम गांव के चार बच्चे पटाखों के बचे हुए मसालों को इकट्ठा कर खेल-खेल में बोतल में भर रहे थे। बताया जा रहा है कि बच्चे बाजार में फूटे या आधे जले पटाखों से निकला बारूद जैसी सामग्री इकट्ठा कर उसे बोतल में दबा रहे थे और बोतल में भरकर उसमे माचिस लगा रहे थे तभी अचानक तेज धमाका हो गया।

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धमाका इतना जोरदार था कि पास में खड़े बच्चों में से एक मोहन रौतेला उम्र 9 वर्ष पुत्र नंदन सिंह रौतेला, निवासी कानियां, गंभीर रूप से घायल हो गया। विस्फोट के कारण मोहन का एक हाथ कलाई से नीचे पूरी तरह से उड़ गया और क्षतिग्रस्त हो गया। वहीं, उसके साथी मनीष सैनी और भानु सैनी को भी हल्की चोटें आई हैं। मोहन छठी कक्षा में पढ़ता है और अपने दोस्तों के साथ घर के पास खेल रहा था। उसकी हालत नाजुक बताई जा रही है।

वहीं, धमाके के बाद ग्रामीण मौके पर दौड़े और तुरंत बच्चों को राम दत्त संयुक्त चिकित्सालय रामनगर ले जाया गया। डॉक्टरों ने प्राथमिक उपचार के बाद गंभीर रूप से घायल मोहन रौतेला को हायर सेंटर उच्च चिकित्सालय के लिए रेफर कर दिया। जबकि अन्य दोनों बच्चों का इलाज रामनगर अस्पताल में जारी है। स्थानीय लोगों ने बताया कि अक्सर बच्चे पटाखों के बारूद से खेलने की कोशिश करते हैं। जो बेहद खतरनाक होता है।

घटना की सूचना मिलते ही पुलिस और प्रशासन की टीम मौके पर पहुंची। पुलिस ने हादसे की जांच शुरू कर दी है। फिलहाल यह स्पष्ट नहीं हो सका है कि बच्चों को पटाखों का मसाला कहां से मिला। पुलिस अधिकारियों ने बताया कि मामले की जांच की जा रही है और साथ ही अभिभावकों से अपील की गई है कि वे बच्चों को पटाखों और बारूद जैसी वस्तुओं से दूर रखें। डॉक्टरों और विशेषज्ञों ने चेतावनी दी है कि बारूद या पटाखों के अवशेषों से खेलना बहुत जोखिम भरा होता है। अभिभावक अपने बच्चों को इस तरह के प्रयोगों से रोकें और सुरक्षा को प्राथमिकता दें।