लड़ीधूरा महोत्सव : बारिश के बीच गूंजे मां के जयकारे, मंदिर की परिक्रमा के बाद रथों का विसर्जन

बाराकोट/चम्पावत। बाराकोट के लड़ीधूरा महोत्सव के दौरान मंगलवार 7 अक्टूबर को बारिश के बीच काकड़ और बाराकोट गांव से देवी रथों को जयकारों के साथ कठिन रास्तों से लड़ीधूरा मंदिर लाया गया। काकड़ से रस्सों के सहारे पहला रथ अपरान्ह 3:20 बजे लड़ीधूरा मंदिर पहुंचा। जिसमें कालिका के रूप में कल्याण सिंह अधिकारी विराजमान थे। जबकि दूसरा रथ बाराकोट से अपरान्ह 3:35 बजे मंदिर पहुंचा। इस रथ में भगवती के रूप में गुड्डी फर्त्याल एवं कालिका के रूप में प्रताप सिंह विराजमान थे। रथों के मंदिर में पहुंचते ही लड़ीधूरा की चोटी मां के जयकारों से गूंज उठी।

बारिश के बावजूद श्रद्धालुओं में गजब का उत्साह था। रथों के पीछे-पीछे महिलाएं मंगल गीतों का गायन कर रही थी। रथों में लगे रस्सों को खींचने के लिए हर उम्र के लोगों में होड़ रही। मंदिर में देव डांगरों के शरीर में अवतरित देवी-देवताओं ने श्रद्धालुओं का आशीर्वाद दिया। रथ यात्रा में शामिल लोगों ने मंदिर में मां भगवती के दर्शन किए। शाम 5 बजे मंदिर की परिक्रमा के बाद रथों को विसर्जित किया गया। इस दौरान फर्तेला के जिला पंचायत सदस्य योगेश चंद्र जोशी, जगदीश सिंह अधिकारी, दुर्गेश जोशी, नवीन जोशी, रमेश जोशी, महेंद्र अधिकारी, विनोद अधिकारी, किशोर जोशी, रजत वर्मा, ऋतेश कुमार वर्मा, प्रदीप ढेक, सुनील वर्मा, लोकमान सिंह अधिकारी, राजू अधिकारी, दीनू अधिकारी, राजेंद्र अधिकारी, नमन जोशी, रजनीश जोशी, राहुल जोशी शुभम नाथ, ललित मोहन जोशी, सौरव, राकेश सिंह अधिकारी, सूरज मौजूद रहे। लड़ीधूरा शैक्षिक एवं सांस्कृतिक मंच के अध्यक्ष नगेंद्र जोशी ने महोत्सव के शांतिपूर्ण संपन्न होने पर सभी का आभार जताया।
रस्साकसी में चैंपियन बना यूथ क्लब बाराकोट…
लड़ीधूरा महोत्सव के अंतिम दिन मंगलवार 7 अक्टूबर को रस्साकसी प्रतियोगिता हुई। जिसमें यूथ क्लब बाराकोट की टीम ने बाराकोट गांव की टीम को हराया। विजेता टीम को 22 लीटर का प्रेशर कुकर, तीन बाल्टी और उप विजेता टीम को 12 लीटर का प्रेशर कुकर व दो बाल्टी पुरस्कार के रूप दी गई। लकी ड्रा कूपन में प्रथम पुरस्कार स्कूटी डिंपल चौधरी, द्वितीय पुरस्कार रेफ्रिजिरेटर प्रिंस कुमार व तृतीय पुरस्कार वॉशिंग मशीन परिशा जोशी के नाम खुली।
