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ट्रेनी डॉक्टर की हत्या के विरोध में देशभर के रेजीडेंट डॉक्टर हड़ताल पर, कोलकाता पुलिस ने किए सनसनीखेज खुलासे

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कोलकाता। कोलकाता के एक अस्पताल में डॉक्टर से बलात्कार और हत्या के आरोप में गिरफ्तार आरोपी के बारे में पुलिस ने कई सनसनीखेज खुलासे किये हैं। पुलिस ने बताया कि वारदात को अंजाम देने के बाद आरोपी अपने घर वापस आया और सो गया। सुबह उठकर उसने सबसे पहले सबूत मिटाने के लिए अपने कपड़े धोये। हालांकि, पुलिस को आरोपी के जूते पर खून के निशान मिले हैं।

पुलिस ने बताया कि आरोपी एक नागरिक स्वयंसेवक है। हालांकि इसका मेडिकल कॉलेज से कोई काम नहीं था लेकिन वह अक्सर वहां जाता था। अस्पताल के सेमिनार हॉल में कथित तौर पर बलात्कार और हत्या की शिकार हुई एक महिला स्नातकोत्तर प्रशिक्षु का शव शुक्रवार सुबह बरामद किया गया। आरोपी को शनिवार को गिरफ्तार किया गया। अपराध के लिए जिम्मेदार लोगों को जल्द से जल्द सजा देने की मांग को लेकर जूनियर डॉक्टरों का विरोध प्रदर्शन रविवार को तीसरे दिन भी जारी रहा। विरोध प्रदर्शन के कारण पूरे पश्चिम बंगाल में सरकारी अस्पतालों में सेवाएं प्रभावित हुईं।

शहर के पुलिस आयुक्त विनीत गोयल ने तीन दिनों में दूसरी बार रविवार को मेडिकल कॉलेज का दौरा किया। उन्होंने आंदोलनकारी जूनियर डॉक्टरों के प्रतिनिधियों के साथ बैठक की। उन्होंने दावा किया कि जांच ‘पारदर्शी’ है। उन्होंने आम नागरिकों से अफवाह न फैलाने का आग्रह किया। उन्होंने मीडिया को आरोपी के बारे में जानकारी देते हुए बताया कि मेडिकल कॉलेज में अपराध को अंजाम देने के बाद वह अपने घर चला गया। वह शुक्रवार सुबह देर तक सोता रहा। फिर उठकर उसने वारदात के दौरान पहने कपड़ों को सबूत मिटाने के उद्देश्य से धोया। उन्होंने बताया कि तलाशी के दौरान उसके जूते मिले, जिन पर खून के धब्बे हैं।

यह पूछे जाने पर कि क्या अपराध में कोई और शामिल था उन्होंने कहा कि अभी तक इसका कोई सबूत नहीं है। अधिकारी ने कहा कि पुलिस अंतिम पोस्टमार्टम जांच रिपोर्ट का इंतजार कर रही है क्योंकि वे इसे अपनी जांच के निष्कर्षों से मिलाना चाहते हैं। प्रारंभिक पोस्टमार्टम रिपोर्ट में कहा गया था कि पीड़िता की आंखों, मुंह और निजी अंगों से खून बह रहा था। उसके बाएं पैर, गर्दन, दाहिने हाथ की अनामिका उंगली और होठों पर भी चोटों के निशान मिले हैं। एक अन्य पुलिस अधिकारी ने कहा कि परिस्थितिजन्य साक्ष्य भी इस संभावना की ओर इशारा करते हैं कि डॉक्टर की पहले हत्या की गई और फिर उसके साथ बलात्कार किया गया।

पुलिस अधिकारी ने कहा कि हम गुरुवार रात से अगली सुबह तक ड्यूटी पर मौजूद लोगों से भी बात कर रहे हैं। सीसीटीवी फुटेज की भी जांच की जा रही है। पुलिस सूत्रों ने बताया कि एसआईटी के पुलिस अधिकारियों की एक टीम ने रविवार को फोरेंसिक यूनिट के साथ मिलकर अस्पताल के सेमिनार हॉल से नमूने एकत्र किए। अधिकारी ने बताया कि पुलिस ने अपराध स्थल का पुनर्निर्माण भी किया, हालांकि गिरफ्तार आरोपी वहां मौजूद नहीं था। हमारे एक वरिष्ठ अधिकारी ने आज मृतक डॉक्टर के माता-पिता को पोस्टमार्टम रिपोर्ट सौंप दी है। छात्रों के साथ हमारी बैठक सफल रही और हमें लगता है कि वे संतुष्ट हैं। उनकी मांग के अनुसार, हमने यहां तैनात एक सहायक पुलिस अधिकारी को हटा दिया है। गोयल ने कहा कि पुलिस किसी को बचाने की कोशिश नहीं कर रही है। उन्होंने कहा कि जांच पूरी तरह से पारदर्शी है। आईपीएस अधिकारी ने कहा कि वे जल्द ही लोगों के लिए एक टोल-फ्री नंबर शुरू करेंगे, जिस पर वे सुझाव या शिकायत दे सकते हैं।

हालांकि, आंदोलनकारी जूनियर डॉक्टरों ने कहा कि वे तब तक अपना प्रदर्शन जारी रखेंगे जब तक कि वे पूरी तरह से ‘संतुष्ट’ नहीं हो जाते और उनकी सुरक्षा से संबंधित मांगों पर ध्यान नहीं दिया जाता। गोयल के साथ बैठक के बाद एक जूनियर डॉक्टर ने कहा कि सभी आपातकालीन और गैर-आपातकालीन सेवाओं में काम बंद रहेगा। विभिन्न सरकारी अस्पतालों में जूनियर डॉक्टर, हाउस स्टाफ और पोस्ट-ग्रेजुएट ट्रेनी (पीजीटी) ने शुक्रवार शाम से काम बंद कर दिया है। उन्होंने कहा कि पीड़ित को न्याय दिलाने के लिए सरकार को महत्वपूर्ण कदम उठाने चाहिए। यह घटना न केवल अस्पताल स्तर पर व्यवस्थागत विफलताओं का प्रतिबिंब है, बल्कि यह व्यापक सामाजिक मुद्दों की ओर भी इशारा करती है, जिन पर तत्काल और केंद्रित ध्यान देने की आवश्यकता है।

आंदोलन के मद्देनजर, राज्य के स्वास्थ्य विभाग ने गतिरोध से निपटने के लिए रविवार को सभी वरिष्ठ डॉक्टरों की छुट्टियां रद्द कर दीं। देश के विभिन्न कोनों से आंदोलनकारी डॉक्टरों को समर्थन मिला। फेडरेशन ऑफ रेजिडेंट डॉक्टर्स एसोसिएशन ऑफ इंडिया (FORDA) ने चल रही हड़ताल का समर्थन किया है। सोमवार को अस्पतालों में वैकल्पिक सेवाओं को राष्ट्रव्यापी रूप से बंद करने का आह्वान किया है। FORDA ने अपने निर्णय के बारे में केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय को सूचित कर दिया है।

पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने अपराधी के लिए मृत्युदंड की मांग करने का वचन दिया है। इस बीच, कोलकाता पुलिस ने रविवार को अस्पताल में भारी संख्या में पुलिस बल तैनात किया। अधिकारी ने कहा कि उचित पहचान के बिना किसी को भी अस्पताल परिसर में प्रवेश की अनुमति नहीं दी जाएगी। हम चिकित्सा प्रतिष्ठान में स्वास्थ्य कर्मियों की पूरी सुरक्षा सुनिश्चित करेंगे। एक अन्य अधिकारी ने कहा कि अस्पताल के अधिकारियों ने आपातकालीन वार्ड में अनुबंध पर नियुक्त दो सुरक्षाकर्मियों को अपने कर्तव्यों का ठीक से निर्वहन नहीं करने के कारण निष्कासित कर दिया है।